इस शारदीय नवरात्रि में अपने भीतर की देवी शक्ति जाग्रत करें।

आदिशक्ति, जगज्जननी माँ जगदम्बा की उपासना, आराधना और विजय के इस महापर्व पर कालका माई के चरणों में नमन करते हुए, आप सभी को अनन्त शुभकामनाएँ।

शारदीय नवरात्रि के प्रथम दिवस पर आपको याद दिला दूं कि वैचारिक पवित्रता, संयम और सुचिता तथा अपने कर्तव्यों का पालन धार्मिकता के साथ, अपनी क्षमता के अनुसार, बिना किसी परिणाम की चिंता या आसक्ति के निरन्तर करते रहना ही किसी भी पूजा पाठ, व्रत या तपस्या का मूल आधार होते हैं।

मैं आज माँ भगवती से प्रार्थना करता हूँ कि हमारे सभी व्रत-उपवास एवं पूजा-पाठ निर्विघ्न सफल हों और इस नवरात्रि में हमारे भीतर की देवी शक्ति जाग्रत हो जाये। हमारे शारारिक बल, मनोबल, बुद्धिबल एवं ज्ञानबल में तेजी से वृद्धि हो जिससे जीवन में निश्चिंतता, निर्भयता एवं आत्मीयता प्राप्त हो तथा भविष्य में उन्नयन उत्कर्ष और श्रेष्ठ अवस्था की प्राप्ति सुनिश्चित हो जाये, यही सब आज मेरी उनसे प्रार्थना है।

।। जय कालका माँ ।।
॥ ॐ ह्रीं दुं दुर्गाय नमः ॥

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